डॉ. आशिष तिवारी, सीनियर फिजिशियन, मुम्बई.

सोशल मीडिया पर इन दिनों कुछ पोस्ट तेजी से वायरल हो रही हैं जिनमें यह दावा किया जा रहा है कि किसी के शरीर के तापमान को नापने के लिए जो इंफ्रारेड थर्मामीटर्स का प्रयोग हो रहा है जिसमें इंफ्रारेड गन को माथे के नजदीक ले जाकर तापमान नापते हैं उससे इंसानों के दिमाग पर खासकर पिट्यूटरी और पीनियल ग्लैंड पर बुरा असर पड़ रहा है । आईये जानें कि सच्चाई क्या है ।

जिस इंफ्रारेड थर्मामीटर से हमारे माथे का तापमान नापा जाता है उनसे कोई इंफ्रारेड किरण नही निकलती है । जी हाँ, इन थर्मामीटर्स से कोई इंफ्रारेड किरण नही निकलती है । बल्कि ये थर्मामीटर्स मानव शरीर से निकलने वाली इंफ्रारेड थर्मल रेडियेशन को डिटेक्ट करके शरीर का टेंपरेचर बताते है । इसलिए इन डिवाईसेस से हमारे शरीर को,दिमाग को, पीनियल या पिट्यूटरी ग्लैंड्स को कोई खतरा नही है बल्कि यह डिवाईस हमारे लिए कोरोना स्क्रीनिंग के संदर्भ में बहुत उपयोगी है । इस तरह की जो भी खबरें सोशल मीडिया पर चल रही हैं फेक हैं उन पर भरोसा न करें ।

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