सुचिता का दावा करने वाली सरकार के कई महकमे ऐसे है जहां सुचिता की बात सिर्फ बात ही बन कर रह गई है
इसका ताजा उदाहरण आबकारी विभाग में देखने को मिल रहा है. जहां पर विभाग के कुछ लोगाों की मिली भगत से एक दागदार छवि के आदमी को विभाग प्रमोशन देने की तैयारी में जुटा हुआ है. सूत्रों के अनुसार अगले सप्ताह की शुरुआत में आबकारी विभाग में डीपीसी होनी है और इस सूची में एक ऐसे अधिकारी का नाम भी शामिल है जिन पर महिला के साथ बदसलूकी करने का आरोप है और इस मामले में बकायादा कोर्ट में मामला चल रहा है और अभी विचाराधीन भी है.
आपको बता दे की इसी वर्ष जनवरी माह में अयोध्या थाना कैंट इलाके की रहने वाली एक युवती ने अयोध्या मंडल के उप आबकारी आयुक्त एस पी राव पर नौकरी देने के बहाने अश्लील चैटिंग और छेड़खानी का अरोप लगााया था था। युवती का आरोप था कि वो फोन पर गंदी बात करता था। 14 जनवरी को युवती को उप आकारी आयुक्त ने उसे अपने आवास पर भी बुला कर अश्लील हरकत किया था। पीडि़ता के पास वीडियो आदि भी था जिसे उसने पुलिस को सौंप दिया था।
इस पूरे मामले के संज्ञान में आने के बाद उस वक्त तत्कालीन उप आकारी आयुक्त को हटा का प्रयागराज मुख्यालय से संबंध कर दिया गया था। तत्कालीन प्रमुख सचिव आबकारी संजय भूसरेडडी ने मामले को काफी गंभीरता से लिया था और कड़ी कार्यवाही की बात भी कही थी।
सूत्रों के अनुसार अगले सप्ताह होने वाली डीपीसी में उक्त आरोपी उप आबाकरी आयुक्त को भी प्रमोशन देने की बात सामने आ रही है कि उच्चाधिकारियों को अंधेरे में रख कर उक्त आरोपी अधिकारी की फाइल को भी आगे बढ़ा दिया गया है।
हमारे पास कोर्ट के सवाल जवाब की वो प्रति भी है जिसमे उक्त अधिकारी को अभियुक्त् कह कर संबोधित है और साथ ही उस पर दर्ज वाद का भी उल्लेख है। ऐसे में सवाल ये उठता है कि आखिर किस बात की हड़बड़ी है जिसके चलते आनन-फानन में एक महिला के साथ इतने गंभीर आरोप में घिरे अधिकारी को प्रमोशन देने में विभाग के कुछ लोग लगे है। वो भी तब जब आबाकरी विभाग के आयुक्त भी सख्त छवि के माने जाते है और एसीएस/ प्रमुख सचिव आबकारी संजय भूसरेडडी भी कड़क छवि के ईमानदार अधिकारी माने जाते है और सबसे बड़ी बात की प्रमुख सचिव आबकारी संजय भूसरेडडी ने उक्त आरोपी उप आबाकरी आयुक्त एस पी राव के खिलाफ इसी साल जनवरी माह में कार्यवाही की थी।सूत्रों की माने तो उक्त आरोपी आबाकरी आयुक्त एस पी राव का लखनऊ में पेट्रोल पंप है और वो अपना ख़ुद का डिस्टिलरी प्लांट लगाने जा रहे है. दस हज़ार फूट में मकान है.
नेशनल कवरजे के सूत्रों के अनुसार डीपीसी में उक्त आरोपी उप आबाकरी आयुक्त एस पी राव की भी फाइल है और यदि विभागिय लोग अपने मकसद में कामयाब होते है तो निश्चित तौर पर ये एक सवाल होगा कि ऐसे लोगाों को कौन संरक्षण दे रहा है